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मलेरिया से लड़ रहे एक गांव की कहानी-- भरत डोगरा

पड़ोसी देश श्रीलंका को मलेरिया मुक्त बनने का प्रमाण-पत्र दिए जाने से हम प्रसन्न हो सकते हैं, लेकिन हमारे लिए मलेरिया से मुक्ति एक सपने की तरह ही है। खासकर मध्य भारत में और वहां भी विशेषकर आदिवासी क्षेत्रों में, जहां मलेरिया का प्रकोर बहुत ज्यादा है और जानलेवा भी। वहां फाल्सीपेरम मलेरिया की बड़े पैमाने पर उपस्थिति आदिवासी गांवों में एक बड़ी समस्या बनी हुई है। बाकी जगहों पर हालात...

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पुलिस बल की अबलाएं-- अंजलि सिन्हा

पुलिस की भर्ती में शारीरिक सौष्ठव और दम-खम एक अनिवार्य कसौटी रहती है। भर्ती के बाद प्रशिक्षण में शारीरिक चुस्ती, अपराधी की पहचान और उसकी धर-पकड़ आदि के कौशल सिखाए जाते हैं। पर इसी के साथ-साथ पुलिस के प्रशिक्षण में सामाजिक आयाम, खासकर जेंडर संवेदनशीलता को भी शामिल किया जाना चाहिए।   छत्तीसगढ़ की चांदखुरी पुलिस एकेडमी, जो राजधानी रायपुर से मुश्किल से पच्चीस किलोमीटर दूर स्थित है, पिछले दिनों गलत कारणों...

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महानदी जल विवाद: राज्यों में असली लड़ाई उद्योगों को पानी देने की

रायपुर। ब्यूरो। महानदी जल विवाद की मुख्य वजह पावर प्लांट के लिए पानी जुटाने की है। छत्तीसगढ़ सरकार ने महानदी पर सात बैरेज मुख्य रूप से पावर प्लांट को पानी पहुंचाने के लिए करवाया है तो ओड़िशा सरकार भी पीछे नहीं हैं। वर्तमान में आधा दर्जन से अधिक सार्वजनिक और निजी क्षेत्रों के पावर प्लांट को पानी दिया जा रहा है। वहीं ओड़िशा बार्डर में बन रहे कलमा बैराज से...

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छत्तीसगढ़ में सुरक्षित नहीं हैं बुजुर्ग- एनसीआरबी की रिपोर्ट

रायपुर। छत्तीसगढ़ में सीनियर सिटीजन को सुरक्षा देने के मामले में पुलिस कमजोर साबित हो रही है। नेशनल क्राइम रिकार्ड ब्यूरो के ताजा आंकड़ों से खुलासा हो रहा है कि प्रदेश में बुजुर्गों के खिलाफ अपराध बढ़े हैं। चौंकाने वाली बात यह है कि राष्ट्रीय स्तर पर बुजुर्गों के लिए हुए अपराध के मामले में छत्तीसगढ़ पांचवें पायदान पर है। एनसीआरबी ने लगातार दूसरे वर्ष 2015 में भी दिल्ली को...

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सरकारी स्कूलों में शिक्षा की खराब गुणवत्ता के लिए सिर्फ शिक्षकों को दोष देना उचित नहीं

देश के शिक्षा-संबंधी सभी अध्ययन और सर्वेक्षण इंगित करते हैं कि छात्रों का स्तर अपेक्षा से नीचे है. इस स्थिति के लिए आम तौर पर शिक्षकों को दोषी ठहरा दिया जाता है, लेकिन जमीनी हकीकत यह है कि हमारे विद्यालयों का इंफ्रास्ट्रक्चर और शिक्षकों के प्रशिक्षण की व्यवस्था बेहद लचर है. देश में एक लाख से अधिक विद्यालय ऐसे हैं, जहां सिर्फ एक शिक्षक है. अधिकतर विद्यालयों में छात्र-शिक्षक अनुपात...

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