किसानों के प्रदर्शन ने यह साबित कर दिया है कि खेती किसानी में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है. यह तो तय है कि जैसे-जैसे उत्पादन में उद्योग धंधे और पूंजी का महत्व बढ़ता जायेगा, वैसे-वैसे किसानों की हालत बिगड़ती जायेगी. दुनियाभर के पूंजीवादी देशों को देखकर लगता है कि बिना सरकारी सहायता के किसानों की हालत अच्छी नहीं हो सकती है. भारत में पूंजीवाद के बढ़ते कदम...
More »SEARCH RESULT
खेती और गांव की बदहाली-- डा. अश्विनी महाजन
नेशनल बैंक फॉर एग्रीकल्चर एंड रूरल डेवलपमेंट (नबार्ड) ने अखिल भारतीय ग्रामीण समावेशी वित्तीय सर्वेक्षण, 2016-17 की रिपोर्ट में जो आंकड़े जारी किये हैं, इससे पता चलता है कि कृषि में संलग्न गृहस्थों की आमदनी में खेती और सहायक गतिविधियों जैसे पशुपालन इत्यादि से मात्र 43 प्रतिशत ही आमदनी मिलती है, जबकि शेष 57 प्रतिशत आय नौकरी, मजदूरी, उद्यम इत्यादि से प्राप्त होती है. ऐसे गृहस्थ जो कृषि में संलग्न...
More »किसानों की आमदनी में सालाना बढ़वार सिर्फ 5.6 फीसद- नाबार्ड की नई रिपोर्ट
हाल के सालों में खेतिहर परिवारों की आमदनी में किस रफ्तार से बढ़ोत्तरी हुई है ? अगर इस सवाल का जवाब एकदम नये तथ्यों के सहारे जानने चाहते हों तो राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक(नाबार्ड) की एक हालिया रिपोर्ट आपके काम की साबित हो सकती है. इस रिपोर्ट का नाम है नाबार्ड ऑल इंडिया रुरल फायनेन्शियल इन्क्लूजन सर्वे 2016-17 यानि संक्षेप में कहें तो एनएएफआईएस 2016-17 और इस रिपोर्ट का आकलन है कि...
More »किसानों का अविश्वास मत पास-- योगेन्द्र यादव
इधर लोकसभा में मोदी सरकार के विरुद्ध अविश्वास प्रस्ताव पर बहस होगी. उधर अखिल भारतीय किसान संघ समिति के बैनर तले 201 किसान संगठनों के प्रतिनिधि संसद के बाहर प्रदर्शन कर इस सरकार में अविश्वास जतायेंगे. दसों दिशाओं से किसानों का संदेश संसद के दरवाजे पर दस्तक देगा. लोकसभा के भीतर यह आवाज पहुंचे न पहुंचे, लेकिन हम सब दस दिशाओं से आनेवाली इन आवाजों को सुन सकते हैं, उन...
More »कभी किसान के मन की बात भी करें मोदी- योगेन्द्र यादव
प्रधानमंत्री को आजकल किसानों की बड़ी चिंता है। यानी उनके वोट की बहुत चिंता है। होनी भी चाहिए। लोकसभा चुनाव का मौसम शुरू हो गया है। चाहे गुजरात से लेकर कैराना तक के चुनाव परिणाम हों या किसानों द्वारा अपनी फसल फेंक देने की खबरें हों या फिर नवीनतम जनमत सर्वेक्षण, सभी दिशाओं से किसान की नाराज़गी के संकेत आ रहे हैं। प्रधानमंत्री जानते हैं कि देश की खेती पर...
More »