नई दिल्ली। सरकार ने सोमवार को स्पष्ट किया कि वह देश में जनसंख्या नियंत्रण के लिए किसी भी रूप में कानून लागू करने के पक्ष में नहीं है। वर्तमान समय की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए लोगों को स्वैच्छिक रूप से स्वयं आगे आकर परिवार नियोजन के उचित तरीकों को अपनाना चाहिए। केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री गुलाम नबी आजाद ने राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन [एनआरएचएम] के पांच साल पूरे होने के अवसर...
More »SEARCH RESULT
‘मेरे पास कोई बटन नहीं है जिसे दबाकर चीजें तुरंत बदल दूं’- नीतीश कुमार
बिहार में इस साल विधानसभा चुनाव हैं, लेकिन लगता नहीं कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को इस चुनौती की ज्यादा फिक्र है. विजय सिम्हा से बातचीत में नीतीश बता रहे हैं कि उनकी सरकार तीन सबसे प्रमुख मुद्दों- निवेश, शिक्षा और भूख पर कैसे आगे बढ़ने वाली है और क्यों उन्हें इस मामले में केंद्र से मदद मिलने की उम्मीद नहीं है. (तहलका हिन्दी से साभार) बिहार में भूख अभी भी एक समस्या है, लेकिन इसे...
More »देशी आलू से बनेगा विदेशी फ्रेंच फ्राई
मोदीपुरम [मेरठ]। विदेशी फास्ट फूड फ्रेंच फ्राई के शौकीनों के लिए अच्छी खबर है। इसका स्वाद अब आम आदमी भी ले सकेगा। यह संभव हुआ केंद्रीय आलू अनुसंधान संस्थान मोदीपुरम द्वारा विकसित की गई आलू की नई प्रजाति से। यह देश में सबसे पहले विकसित ऐसी प्रजाति है, जिससे फ्रेंच फ्राई बनाया जा सकेगा। सीपीआरआई ने इसे विकसित करने के बाद कई नामी कंपनियों तथा किसानों को बीज उपलब्ध करा दिया है। विदेशी फास्ट फूड...
More »धरती कहे पुकार के
ढ़ती हुई कीमतें उस आपदा का सिर्फ एक संकेत हैं, जिससे खेती जूझ रही है. दरअसल भारतीय कृषि क्षेत्र बुरी तरह से चरमरा रहा है. संकट से पार पाने के लिए नजरिए में बड़े बदलावों की जरूरत है. लेकिन कृषि मंत्री शरद पवार आपदा की इस आहट को सुनने के लिए तैयार नहीं. अजित साही और राना अय्यूब की रिपोर्ट सरकारी नीतियों से लेकर अखबार की सुर्खियों तक तरजीह पाने वाली...
More »अमीरी-गरीबी के बीच बढ़ता फासला
नई दिल्ली [निरंकार सिंह]। प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा है कि 11वीं योजना के अंत तक नौ फीसदी और 12वीं पंचवर्षीय योजना में 10 फीसदी विकास दर का लक्ष्य होना चाहिए। इसके साथ यह भी सुनिश्चित करना होगा कि इसका फायदा समाज के हर वर्ग को मिले। इनकी सरकार लगातार समावेशी विकास के दावे कर रही है, लेकिन उसने विकास के उन तौर तरीकों को अपनाया है, जिससे समाज में विषमता बढ़ गई है। अमीरी और...
More »