SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 15201

कोविड-19 से मौतों के आंकड़े सही नहीं, तकनीकी आधार पर मुआवज़ा ख़ारिज न करें: सुप्रीम कोर्ट

-द वायर, सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि राज्यों द्वारा जारी किए गए कोविड-19 से हुईं मौतों संबंधी आधिकारिक आंकड़े ‘सच नहीं’ थे और राज्य सरकारों को निर्देश दिया है कि वे उन मृतकों के परिजनों को मुआवजा प्रदान करें, जिन्होंने मुआवजे के लिए आवेदन दिया है और तकनीकी आधार पर उनके दावों को खारिज न करें. टाइम्स ऑफ इंडिया की एक खबर के मुताबिक, जस्टिस एमआर शाह और जस्टिस बीवी नागरत्ना...

More »

आर्थिक विकास तो महत्वपूर्ण है, लेकिन भारत को बेरोजगारी, गरीबी, स्वास्थ्य, पर्यावरण पर भी ध्यान देना जरूरी है

-द प्रिंट, बजट और आर्थिक सर्वेक्षण से व्यापक अर्थव्यवस्था के लिए सरकार की जो रणनीति उभरती है उसे इन शब्दों में सरलता से कहा जा सकता है—आर्थिक वृद्धि सभी समस्याओं का समाधान कर देगी. यह रणनीति दो दशक पहले कारगर होती थी जब व्यापक अर्थव्यवस्था के संकेतक आज के वित्तीय घाटे के लिहाज से हुआ करते थे, सरकारी कर्ज पर ब्याज भारी होता था, और बैंक समस्याओं से ग्रस्त होते थे....

More »

गैर वाजिब बटवारा संसाधनों का पुनर्वितरण हमारे भविष्य के लिए अनिवार्य

-कारवां, 2019 में मैंने ट्विटर पर एक इन्फोग्राफिक देखा जिसमें पेड मैटरनिटी लीव (वैतनिक मातृत्व अवकाश) देने वाले देशों के नाम थे. पता चला कि संयुक्त राज्य अमेरिका वैतनिक मातृत्व अवकाश नहीं देता है. इस सूची में भारत का स्थान ब्रिटेन के बाद, दूसरे नंबर पर है. हमारे यहां 26 सप्ताहों का वैतनिक मातृत्व अवकाश मिलता है. मुझे यह बात जरूर खली कि मातृत्व अधिकार अधिनियम केवल संगठित क्षेत्र में लगी औरतों के...

More »

सार्वजनिक निवेश के बल पर टिकी विकास की रणनीति को वैश्विक मुद्रास्फीति से ख़तरा है

-द वायर, वर्ष 2022-23 के केंद्रीय बजट को पिछले आठ वर्षों से ठहर से गए निजी क्षेत्र के निवेश में तेजी लाने की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आखिरी कोशिश के तौर पर देखा जा सकता है. प्रधानमंत्री के तौर पर मोदी का कार्यकाल लगभग एक दशक पूरा करने की ओर बढ़ रहा है. उन्हें यह चिंता अवश्य सता रही होगी कि आय, निजी निवेश, रोजगार, बचत ओर पूंजी निर्माण जैसे विभिन्न अहम...

More »

केंद्रीय बजट में दलित-आदिवासी के लिए प्रत्यक्ष लाभ कम, दिखावा अधिक

-न्यूजक्लिक, इस वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए अनुसूचित जातियों (अजा) के लिए बजट कुल 1,42, 342.36 करोड़ रुपये और अनुसूचित जनजाति (अजजा) के लिए कुल 89,265.12 करोड़ रुपये तय किया गया है। अजा के लिए 329 योजनाओं और अजजा के लिए 336 योजनाओं को क्रमश: अनुसूचित जाति कल्याण (AWSC) और अनुसूचित जनजाति कल्याण (AWST) के लिए बजट में शामिल किया गया है। हालांकि, आवंटित बजट दिखने में काफी बड़ा लगता है। लेकिन...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close