SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 3789

सुरक्षा कवच है सीएनटी एक्ट: सोरेंग

रांची: छोटानागपुर काश्तकारी अधिनियम (सीएनटी एक्ट) के 106 वर्ष पूरे होने के मौके पर सत्यभारती सभागार, पुरुलिया रोड में ‘भू अधिकार दिवस कार्यक्रम' का आयोजन हुआ. इसमें आदिवासी मामलों के जानकार, अधिवक्ता जेवियर सोरेंग ने कहा कि सीएनटी एक्ट हमारी धरोहर और हमारे पूर्वजों के संघर्ष का परिणाम है. इसके प्रावधान हमारे सुरक्षा कवच हैं. यदि इसमें संशोधन की बात आती है, तो पहले उन लोगों का नजरिया समझना...

More »

क्या गरीब ऐसी ही मौत को अभिशप्त हैं?- रुचिर गर्ग

छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य मंत्री अमर अग्रवाल के गृह जिले बिलासपुर के एक गांव में हुए नसबंदी शिविर में ऑपरेशन के बाद अब तक 12 महिलाओं की मौत हो चुकी है। बहुत-सी महिलाएं गंभीरावस्था में अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती हैं। खुद मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह मुख्य सचिव को साथ लेकर बिलासपुर पहुंचे और उन्होंने अस्पताल में भर्ती पीड़ितों का हाल जाना और दोषियों पर ताबड़तोड़ कार्रवाई के आदेश दिए। इस घटना ने...

More »

मनमानी : जंगल का अफसर इंसानों के लिए खरीद रहा दवा!

रायपुर। छत्तीसगढ़ में सरकार ने इंसानों के लिए दवा खरीदने की जिम्मेदारी वन सेवा के अफसर (आईएफएस) सौंप रखी है। राज्य के आम लोगों के लिए दवा खरीदी करने वाली सरकारी संस्था छत्तीसगढ़ मेडिकल सर्विस कार्पोरेशन लिमिटेड (सीजीएमएससी) हर साल करीब 150 करोड़ रुपए से अधिक की दवा खरीदती है। इस कार्पोरेशन के संचालक प्रताप सिंह (आईएफएस) हैं। विभागीय सूत्रों के अनुसार कार्पोरेशन में एक भी डॉक्टर या दवा का विशेषज्ञ...

More »

विदेश से ज्यादा देश में ही है काला धन- मोहन गुरुस्वामी

काला धन, दरअसल, हर वह आय है, जिस पर राज्य को किसी तरह का कर (टैक्स) नहीं दिया जाये. यह आय वैध तरीकों से हो सकती है या फिर अवैध तरीकों से, जैसे स्मगलिंग, भ्रष्टाचार और ड्रग्स के जरिये. सालाना कितना काला धन पैदा होता है, इसका आंकड़ा हर साल अलग-अलग होता है. हालांकि, एक बहुप्रसारित, पर कथित तौर पर गोपनीय अध्ययन (जो नेशनल इंस्टीट्यूट फॉर पब्लिक फायनांस एंड पॉलिसी...

More »

सुरक्षा कवच: पंचायत प्रतिनिधियों को राहत, मुखिया पर केस मंत्री की अनुमति के बिना नहीं

पटना: राज्य सरकार ने मुखिया, उपमुखिया सहित ग्राम पंचायत के सदस्यों को सुरक्षा कवच प्रदान किया है. अब मुखिया, उपमुखिया व पंचायत सदस्यों के खिलाफ मुकदमा चलाने के लिए सरकार की अनुमति जरूरी होगी. यानी पंचायती राज मंत्री की इजाजत पर ही मुखिया के खिलाफ मुकदमा चलेगा. इसके साथ ही सिर्फ प्रशासनिक लापरवाही या छोटी-मोटी गलती पर उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज नहीं की जायेगी और शिकायतों की जांच एसडीओ से नीचे...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close