संयुक्त राष्ट्र। संयुक्त राष्ट्र के एक शीर्ष अधिकारी ने परंपरागत ज्ञान के संरक्षण के लिए भारत की भूमिका की सराहना करते हुए कहा है कि विभिन्न भाषाओं में देश का हजारों फार्मूलों का डेटाबेस विकासशील दुनिया के लिए एक उदाहरण है। यूनाइटेड नेशन्स वर्ल्ड इंटेलेक्चुअल प्रॉपर्टी ऑर्गनाइजेशन [डब्ल्यूआईपीओ] के निदेशक फ्रांसिस गरी ने हाल ही में भारत का पांच दिवसीय दौरा संपन्न किया है। उन्होंने कहा कि डब्ल्यूआईपीओ की इंटरगवमर्ेंटल...
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ग्राम न्यायालय- कितने दिन- कितने कोस?
सुप्रीम कोर्ट का हालिया बयान कहता है-देश की अदालतों में कुल ढाई करोड़ से ज्यादा मुकदमे निपटारे की बाट जोह रहे हैं। विधि मंत्रालय का सुझाव है कि देश में अदालतों की तादाद मौजूदा संख्या के पांच गुनी बढ़ायी जानी चाहिए। मगर सरकार ने ग्राम न्यायालय अधिनियम में प्रावधान किया है कि महज ५००० ग्राम न्यायालय स्थापित किए जाएंगे- यानी अदालतों की संख्या में महज ५० फीसदी का इजाफा होगा...
More »पर्यावरण की राजनीति और धरती का संकट
खुद मनुष्य ने अपनी भावी पीढ़ियों की जिंदगी को दांव पर लगा दिया है। दुनिया भर में चिंता की लकीरें गहरी होती जा रही हैं। सवाल ल्कुल साफ है- क्या हम खुद और अपनी आगे की पीढ़ियों को बिगड़ते पर्यावरण के असर से बचा सकते हैं? और जवाब भी उतना ही स्पष्ट- अगर हम अब भी नहीं संभले तो शायद बहुत देर हो जाएगी। चुनौती हर रोज ज्यादा बड़ी होती...
More »कोसी का कहर
कोसी का कहर अगस्त 2008 में बिहार के एक बड़े इलाके पर टूट पड़ा। कोसी को कभी बिहार का शोक कहा जाता था। जब यह नदी पूर्णिया जिले में बहती थी तब एक कहावत बड़ी चर्चित थी कि ‘जहर खाओ, न माहुर खाओ, मरना है तो पूर्णिया जाओ।’ इस नदी का यह स्वभाव था कि वह अपना रास्ता बदलती रहती थी। यह कब अपना रुख बदल लेगी, इसका अंदाजा लगाना...
More »वाई एस आर- एक नाम गरीबों के दर्दमंद का
कोई कहता था वाई एस राजशेखर रेड्डी तो कोई सिर्फ वाई एस आर । मेडिकल की पढ़ाई फिर प्रैक्टिस और उसके बाद राजनीति में उतरे आंध्रप्रदेस के मु्ख्यमंत्री राजशेखर रेड्डी का आकस्मिक और दुखद निधन अधिकारों के दायरे को बढ़ाकर भारत का विकास करने वाली सोच पर एक आघात की तरह है। राजशेखर रेड्डी ने नरेगा और वृद्धावस्था पेंशन जैसे सैकड़ों ग्रामीण विकास योजनाओं को लागू करने में अग्रणी भूमिका...
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